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अमर उजाला ब्यूरो, नई दिल्ली।
Revealed by: Jeet Kumar
Up to date Tue, 21 Sep 2021 02:50 AM IST
सार
कंपनी के चेयरमैन और सीईओ अलबर्ट बौरला का कहना है कि अमेरिका में बच्चों में संक्रमण 240 फीसदी तक बढ़ा है। 5 से 11 वर्ष के बच्चों को जल्द से जल्द टीका लगाना होगा।
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विस्तार
फाइजर का दावा है कि जिन बच्चों को टीका लगाया गया, उनमें 16 से 25 वर्ष वालों की तुलना में मजबूत प्रतिरोधी असर दिखा है। वैज्ञानिकों के अनुसार बच्चों को टीके की दस ग्राम डोज दी गई, जो बड़े बच्चों और वयस्कों को दी जाने वाली डोज का एक तिहाई है। अनुमान है कि वैक्सीन की मात्रा अधिक देने से बच्चों पर बुखार, सिरदर्द, थकान आदि दुष्प्रभाव हो सकता है।
सर्दियों तक आएंगे परीक्षण के आंकड़े
फाइजर ने ये तो घोषणा कर दी है कि 5 से 11 वर्ष के लिए टीका सुरक्षित और असरदार है, लेकिन उसने आंकड़े जारी नहीं किए हैं। कंपनी का दावा है कि वो सर्दियों से पहले बच्चों पर परीक्षण के आंकड़े एफडीए को मुहैया करा देगी।
छह माह के बच्चों पर शोध जल्द
कंपनी का कहना है कि दो से पांच वर्ष और छह माह से दो वर्ष के बच्चों पर भी परीक्षण इस साल की चौथी तिमाही तक शुरू हो सकता है। पहले, दूसरे और तीसरे चरण के परीक्षण में अमेरिका, फिनलैंड, पोलैंड और स्पेन में छह माह से ग्यारह वर्ष तक के 4500 बच्चों पर 90 स्थानों पर परीक्षण हो सकता है। डोज के बीच का अंतर 21 दिन का हो सकता है।
गंभीर स्थिति में जाने से बचाएगा टीका
वैक्सीन विशेषज्ञ डॉ. क्रिस्टिन ऑलिवर का कहना है कि ये खबर राहत भरी है। हम लंबे समय से इस उम्र के बच्चों के लिए टीका आने का इंतजार कर रहे थे। बच्चों को वयस्कों की तुलना में डेल्टा वैरिएंट से संक्रमण का खतरा कम है, इसके बावजूद कई बच्चे संक्रमण के कारण गंभीर स्थिति में जा रहे हैं। टीका अब मदद करेगा।
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