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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, मुंबई
Printed by: गौरव पाण्डेय
Up to date Solar, 10 Oct 2021 09:41 PM IST
सार
कोयले की कमी से 13 थर्मल पावर प्लांट बंद होने के बाद महाराष्ट्र सरकार ने राज्य के नागरिकों से बिजली का संतुलित उपयोग करने की अपील की है और बिजली की बर्बादी से बचने के लिए कहा है।
सांकेतिक तस्वीर
– फोटो : पिक्साबे
महाराष्ट्र के बिजली विभाग ने रविवार को कोयले की कमी से बिजली संकट की आशंका को देखते हुए नागरिकों से बिजली बचाने की अपील की। राज्य में कोयले की कमी की वजह से 13 थर्मल पावर प्लांट बंद हो चुके हैं। ऐसे में महाराष्ट्र राज्य बिजली नियामक आयोग (एमएसईडीसीएल) ने नागरिकों से अपील की है कि उच्च उपयोग के घंटों में बिजली का तार्किक उपयोग ही करें।
बिजली विभाग ने एक सर्कुलर में कहा है, कोयले की कमी की वजह से एमएसईडीसीएल को बिजली की आपूर्ति करने वाले 13 थर्मल पावर प्लांट बंद हो गए हैं। परिणामस्वरूप 3330 मेगावाट बिली की आपूर्ति बाधित हुई है। इस कमी को पूरा करने के लिए हाइड्रोपावर और अन्य माध्यमों समेत आपात खरीद के जरिए बिजली की आपूर्ति उपलब्ध कराने के प्रयास किए जा रहे हैं।
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बयान में कहा गया कि लोड शेडिंग को रोकने के लिए एमएसईडीसीएल की ओर से कड़े प्रयास किए जा रहे हैं। मांग और उपलब्धता को संतुलित करने के लिए उपभोक्ताओं से सुबह छह बजे से 10 बजे तक और शाम छह बजे से रात 10 बजे तक बिजली का संतुलित उपयोग करने की अपील की गई है। कोयले की कमी की वजह से इस समय पूरे देश में बिजली संकट गहरा गया है।
बयान के अनुसार, बिजली की बढ़ती मांग के चलते इसकी खरीद की कीमत महंगी हुई है। वर्तमान में 3330 मेगावाट की कमी के लिए बिजली खुले बाजार से खरीद रहे हैं। 700 मेगावाट बिजली 13.60 रुपये प्रति यूनिट की दर से खुले बाजार से खरीदी जा रही है। रविवार की सुबह रियल टाइम ट्रांजेक्शन के जरिए 900 मेगावाट बिजली 6.23 रुपये प्रति यूनिट की दर से खरीदी गई।
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कही थी ये बात
वहीं, संसदीय मामलों के केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बिजली संकट की खबरों पर कहा है कि बिजली आपूर्ति बाधित होने का खतरा बिल्कुल नहीं है। कोल इंडिया लिमिटेड के पास 24 दिनों की मांग के बराबर पर्याप्त कोयला मौजूद है। जोशी ने एक ट्वीट में कहा कि देश में कोयला उत्पादन और आपूर्ति की समीक्षा की गई है। बिजली आपूर्ति में व्यवधान आने का कोई खतरा नहीं है।
विस्तार
महाराष्ट्र के बिजली विभाग ने रविवार को कोयले की कमी से बिजली संकट की आशंका को देखते हुए नागरिकों से बिजली बचाने की अपील की। राज्य में कोयले की कमी की वजह से 13 थर्मल पावर प्लांट बंद हो चुके हैं। ऐसे में महाराष्ट्र राज्य बिजली नियामक आयोग (एमएसईडीसीएल) ने नागरिकों से अपील की है कि उच्च उपयोग के घंटों में बिजली का तार्किक उपयोग ही करें।
बिजली विभाग ने एक सर्कुलर में कहा है, कोयले की कमी की वजह से एमएसईडीसीएल को बिजली की आपूर्ति करने वाले 13 थर्मल पावर प्लांट बंद हो गए हैं। परिणामस्वरूप 3330 मेगावाट बिली की आपूर्ति बाधित हुई है। इस कमी को पूरा करने के लिए हाइड्रोपावर और अन्य माध्यमों समेत आपात खरीद के जरिए बिजली की आपूर्ति उपलब्ध कराने के प्रयास किए जा रहे हैं।
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बयान में कहा गया कि लोड शेडिंग को रोकने के लिए एमएसईडीसीएल की ओर से कड़े प्रयास किए जा रहे हैं। मांग और उपलब्धता को संतुलित करने के लिए उपभोक्ताओं से सुबह छह बजे से 10 बजे तक और शाम छह बजे से रात 10 बजे तक बिजली का संतुलित उपयोग करने की अपील की गई है। कोयले की कमी की वजह से इस समय पूरे देश में बिजली संकट गहरा गया है।
बयान के अनुसार, बिजली की बढ़ती मांग के चलते इसकी खरीद की कीमत महंगी हुई है। वर्तमान में 3330 मेगावाट की कमी के लिए बिजली खुले बाजार से खरीद रहे हैं। 700 मेगावाट बिजली 13.60 रुपये प्रति यूनिट की दर से खुले बाजार से खरीदी जा रही है। रविवार की सुबह रियल टाइम ट्रांजेक्शन के जरिए 900 मेगावाट बिजली 6.23 रुपये प्रति यूनिट की दर से खरीदी गई।
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कही थी ये बात
वहीं, संसदीय मामलों के केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बिजली संकट की खबरों पर कहा है कि बिजली आपूर्ति बाधित होने का खतरा बिल्कुल नहीं है। कोल इंडिया लिमिटेड के पास 24 दिनों की मांग के बराबर पर्याप्त कोयला मौजूद है। जोशी ने एक ट्वीट में कहा कि देश में कोयला उत्पादन और आपूर्ति की समीक्षा की गई है। बिजली आपूर्ति में व्यवधान आने का कोई खतरा नहीं है।
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